सत्-चित्त-आनंद
अंतर्मन में हर पल स्वयमेव चलने वाला जाप अपने आप ही हर सम्बन्ध को हमेशा के लिए ठीक कर देगा | क्योंकि अंतर्मन का आनन्द स्वयमेव ही ……
व्यवहारिक अध्यात्म
अध्यात्म का प्रयोग या उपयोग कैसे रोजमर्रा की जिन्दगी में किया जाए |
अंतर्मन में हर पल स्वयमेव चलने वाला जाप अपने आप ही हर सम्बन्ध को हमेशा के लिए ठीक कर देगा | क्योंकि अंतर्मन का आनन्द स्वयमेव ही ……
अध्यात्म की धुरी प्रेम पर टिकी है | आप शुरुआत कहीं से भी करें लेकिन अंत प्रेम पर ही होता है | इस सबसे आसान रास्ते को हम भूले बैठे हैं |
व्यवहारिक आध्यात्म – 3 Read More »
ईश्वर अनंत क्यों है और क्या ईश्वर का दूसरा छोर नहीं है | दोस्तों, अगर ईश्वर अनंत है तो इसका मतलब साफ़ है कि दूसरा छोर नहीं है या होगा नहीं |
व्यवहारिक आध्यात्म -2 Read More »
अध्यात्म दो शब्दों से मिल कर बना है जिसका अर्थ है ऐसा ज्ञान जो आत्मा और ब्रह्म का विवेचन करे या आत्मा और ब्रह्म के विषय में चिन्तन-मनन करना |
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